हिमाचल भवन एवं सड़क निर्माण मजदूर यूनियन, इकाई नीरथ के मजदूरों ने नेशनल हाइवे अधिशासी अभियंता रामपूर के कार्यालय के बाहर 5 माह का वेतन ना मिलने के विरोध मे धरना प्रदर्शन किया।
धरने-प्रदर्शन को सम्बोधित करते हुए सीटू जिला शिमला अधयक्ष कुलदीप डोगरा और हिमाचल भवन एवं सड़क निर्माण मजदूर यूनियन जिला शिमला महासचिव अमित, नीरथ यूनियन अध्यक्ष राम कुमार ठाकुर, सचिव राम लाल, रणजीत, मोहित, योगेन्देर ने कहा कि नीरथ में जो नेशनल हाईवे का काम चल रहा है उसमे कार्य कर रहे मजदूरों का लंबे समय से विभाग, भारत कंस्ट्रक्शन कंपनी और ठेकेदार के द्वारा शोषण किया जा रहा है। मजदूरों के ऊपर किसी भी प्रकार के श्रम कानूनों को लागू नहीं किया जा रहा है आज जो प्रदर्शन किया जा रहा है वह पिछले 4 महीने से सभी मजदूरों को वेतन नहीं मिला है और एक मजदूर को 6 महीने का वेतन नहीं मिला है।
जो मजदूर अपनी बात रखने के लिये ठेकेदार के पास जाता है उसे ठेकेदार द्वारा डराया-धमकाया जाता है या नौकरी से निकाल दिया जाता है।
राष्ट्रीय उच्च मार्ग नीरथ में कार्य करें मजदूरों का ठेकेदार व कंपनी के द्वारा ना तो आई कार्ड दिया जा रहा है ना ही हाजरी कार्ड और ना ही किसी भी प्रकार का सुरक्षा का ध्यान रखा जा रहा है। मजदूर जो कार्य कर रहे हैं उनको कानूनी रूप से हर माह की 7 तारीख से पहले वेतन मिलना चाहिए। परंतु यहां पर काम करें मजदूरों को कभी भी 7 तारीख से पहले वेतन नहीं मिला, अभी पिछले 4 माह का वेतन मजदूरों को नहीं मिला और मजदूरों को अपने महीने के कार्य के दिनों के लिए जो हाजरी कार्ड मिलना चाहिए या वेतन स्लिप मिलनी चाहिए वह भी ठेकेदार के द्वारा नहीं दी जा रही है।
मजदूरों से 12 घंटे काम कराया जा रहा है, परंतु न्यूनतम वेतन जो केंद्र सरकार का है उसको अभी तक लागू नही किया गया है मजदूरों को न्यूनतम वेतन से कम दिया जा रहा है जिससे जो स्किल्ड वर्कर है उसे लगभग 10000 रूपये कम वेतन दिया जा रहा है। यूनियन ने एलान किया है कि यदि ठेकेदार व मुख्य नियोक्ता मजदूरों को समय पर वेतन नहीं दिया और न्यूनतम वेतन से कम दिए गई वेतन का एरियर भुगतान नहीं करेंगे, तो आने वाले समय के अंदर उग्र आंदोलन किया जाएगा।
इस धरने प्रदर्शन मे प्रकाश, तिलक राज, जगदीश, ओम प्रकाश, जॉनी, तेज राम, यशपाल, जोशी, राजू, चितर देव, रमेश, मदन लाल, पवन, मीतू, अमन, बबू आदि ने भाग लिया।